देशी बनाम विदेशी सामान: क्या आप अनजाने में चीन और पाकिस्तान को सपोर्ट कर रहे हैं?

विदेशी सामान बनाम देशी उत्पाद: सच क्या है?

विदेशी सामान बनाम देशी उत्पाद: क्या आप जानते हैं सच?

आज भारत के बाज़ार में देशी और विदेशी सामानों का फर्क मिटता जा रहा है। परंतु इस धुंध के पीछे एक बड़ा छल छुपा है। कई विदेशी कंपनियाँ अपने प्रोडक्ट्स को भारतीय नाम और पैकिंग के जरिए हमारे बीच बेच रही हैं।

चीन और पाकिस्तान की घुसपैठ: दिखावे का देशीपन

क्या आप जानते हैं? जो दिखता है 'भारतीय', वह अक्सर होता है 'चीनी' या 'पाकिस्तानी'। मोबाइल एक्सेसरीज़, टॉयज़, इलेक्ट्रॉनिक्स से लेकर राखी, मूर्तियाँ और गणेश जी की मूर्तियाँ तक चीन से आयात की जाती हैं।

कैसे छुपाए जाते हैं विदेशी उत्पाद?

  • "Made in PRC" (People’s Republic of China) लिखकर भ्रम फैलाना
  • भारतीय नाम जैसे "Shree", "Om", "Kuber" आदि से ब्रांडिंग
  • Online platforms पर 'Country of Origin' छुपाना

पाकिस्तानी उत्पादों का अघोषित व्यापार

साफ कहें तो – देश में कुछ व्यापारी सस्ते दाम के चक्कर में पाकिस्तान निर्मित कपड़े, आर्ट आइटम और खाद्य सामग्री को भी घरेलू नाम से बेच रहे हैं। इससे एक ओर आर्थिक नुकसान होता है, दूसरी ओर यह सुरक्षा के दृष्टिकोण से भी खतरनाक है।

आपका विकल्प क्या हो?

हर ग्राहक एक जागरूक नागरिक भी है। आप चाहें तो —

  • Local दुकानदार से उत्पाद का स्रोत पूछें
  • QR कोड स्कैन करें, Made in India देखें
  • जानी-मानी भारतीय कंपनियों को प्राथमिकता दें
  • हर त्योहार पर देशी उत्पाद खरीदकर स्वदेशी को समर्थन दें

सरकार की पहल और जनभागीदारी

सरकार ने "Vocal for Local" और "Aatmanirbhar Bharat" जैसे अभियानों से देश को आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में ठोस कदम उठाया है। अब बारी आपकी है — क्या आप भी दिखावे के देशीपन के बजाय वास्तविक देशभक्ति दिखाएंगे?


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— अभिजीत गुरु | संपादक, NewBharat1824.in

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